जालना – जिला कलक्टर डॉ. श्रीकृष्ण पांचाल ने जिले में उद्योग, वाणिज्य एवं सार्वजनिक परिवहन व्यवस्था के साथ ही शांति व्यवस्था बहाल करने के लिए सभी से सहयोग की अपील की है।
मराठा आंदोलन के मद्देनजर आज शांति समिति की बैठक समाहरणालय सभाकक्ष में आयोजित की गयी. इस समय वह बात कर रहे थे. बैठक में पुलिस अधीक्षक शैलेश बलकवड़े के साथ सकल मराठा समुदाय के समन्वयक और सदस्य उपस्थित थे।
कलेक्टर डॉ. पंचाल ने बताया कि मराठा आरक्षण के अनुरूप राज्य सरकार ने जिला प्रशासन से शैक्षणिक रिकॉर्ड, खसरा प्रमाण पत्र और निजाम काल के प्रमाण पत्र मांगे थे, लेकिन 1960 से पहले के दस्तावेज ढूंढकर सरकार को सौंपे गए हैं. इस बीच किसी भी अप्रिय घटना से बचने के लिए लोकतांत्रिक तरीके से आंदोलन करते हुए अशांति फैलाने वाले लोगों पर कड़ी नजर रखी जायेगी. उन्होंने सभी से आज जिले में शांति का माहौल बनाये रखने के लिए जिला एवं पुलिस प्रशासन को सहयोग करने की अपील की.
पुलिस अधीक्षक श्री बालकावड़े ने कहा कि जिले में कानून व्यवस्था बनाये रखने के लिए पुलिस और नागरिकों के बीच विश्वास का माहौल बनाना जरूरी है. अंतरवाली सराती में अनुचित व्यवहार की जांच पारदर्शी एवं निष्पक्ष तरीके से की जाएगी और दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी
साथ ही जिले में कल तक केवल 162 लोगों पर मामला दर्ज किया गया है. दाखिल की गई धाराओं को कम करने का अधिकार है और आरोप पत्र दाखिल करते समय इन्हें कम किया जाएगा. युवा सोशल मीडिया पर आपत्तिजनक वीडियो टेप पर विश्वास न करें और उसे फॉरवर्ड न करें, अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक संजय सक्सेना लाठीचार्ज मामले की पारदर्शिता से जांच कर रहे हैं. नागरिकों को पुलिस प्रशासन पर भरोसा रखना चाहिए. असली दोषियों का पता लगाया जाएगा और उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।’ उन्होंने नागरिकों से साक्ष्य, बयान, गवाह और आपत्तिजनक वीडियो पुलिस अधीक्षक कार्यालय के विशेष कक्ष में जमा करने की भी अपील की. इस अवसर पर सकल मराठा समाज के संयोजकों ने सुझाव दिया कि आंदोलन के दौरान हिंसा करने वाले लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जानी चाहिए, साथ ही निर्दोष लोगों के खिलाफ दर्ज किए गए गंभीर मामलों को वापस लिया जाना चाहिए और निष्पक्षता से जांच की जानी चाहिए। बैठक में मराठा समाज के नागरिक, सदस्य, पदाधिकारी एवं महिलाएं उपस्थित थीं।